उत्तर प्रदेशबड़ी खबरलखनऊ

परिषदीय विद्यालायों में ऑपरेशन कायाकल्प का वृहद अभियान संचालित

दिव्यांग बच्चों की सुविधा पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है
50000 से अधिक विद्यालयों का कार्याकल्प किया जा चुका है
कायाकल्प के तहत एक लाख विद्यालयों में कार्य प्रगति पर
प्रत्येक विद्यालय में एनसीईआरटी की पुस्तकों से युक्त पुस्तकालय एवं रीडिंग कार्नर स्थापित
विद्यालयों में आधारभूत सुविधाओं का 14 पैरामीटर्स पर इसी वर्ष संतृप्तीकरण कराने का लक्ष्य
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉॅ सतीश चन्द्र द्विवेदी ने आज बापू भवन स्थित अपने कार्यालय कक्ष में यू-ट्यूब लाइव सत्र के माध्यम से बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देशन में राज्य सरकार द्वारा जून, 2018 से समस्त 1.59 लाख परिषदीय विद्यालायों में ऑपरेशन कायाकल्प का बृहद अभियान संचालित किया जा रहा है। जिसके माध्यम से विद्यालयों में आधारभूत सुविधाओं का 14 पैरामीटर्स पर इसी वर्ष संतृप्तीकरण कराने का लक्ष्य हैं। शेष 04 पैरामीटर्स पर मार्च, 2022 तक कार्य पूर्ण कराया जायेगा।
डॉ. द्विवेदी ने बताया कि समग्र शिक्षा अभियान, राज्य निधि, जिला खनिज निधि, ग्राम पंचायत निधि एवं अरबन लोकल बॉडी फंड द्वारा विद्यालय अवस्थापना सुविधाओं का वित्तीय पोषण किया जा रहा है। बाल मैत्रिक विद्यालयों के तकनीकी मैनुअल विकसित किये गये हैं। दिव्यांग बच्चों की सुविधा पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। अब तक 50000 से अधिक विद्यालयों का कार्याकल्प किया जा चुका है तथा एक लाख विद्यालयों में कार्य प्रगति पर है।
उन्होंने बताया कि 73वें एवं 74वें संविधान संशोधन अधिनियम-1992 के अन्तर्गत पंचायती राज संस्थाओं एवं शहरी स्थानीय निकायों को संवैधानिक दर्जा प्रदान करते हुये उनके स्वामित्व एवं क्रियान्वयन पर जोर दिया गया है, जिसके अन्तर्गत आवश्यक है कि अन्तर्विभागीय सामंजस्य एवं सामुदायिक सहभागिता को स्थापित करते हुये ऑपरेशन कायाकल्प के अन्तर्गत ग्राम पंचायतों एवं नगर निगम/निकाय/पंचायतों को जोड़ा जाय।
उन्होंने बताया कि सभी अधिकारी अपने जनपद के परिषदीय विद्यालायें को स्वच्छ, स्वस्थ व बेहतर शैक्षणिक परिवेश प्रदान करने के उद्देश्य से विद्यालयों में निरीक्षण करते हुये गतिमान विभिन्न शैक्षणिक कार्यक्रमों जैसे कि प्रेरणा ज्ञानोत्सव, थर्ड असेसमेन्ट इत्यादि में सक्रिय सहभागिता के साथ शिक्षकों को प्रेरित करते हुये सामाजिक सहभागिता को भी बढ़ावा दिया जाय। ऐसे परिषदीय विद्यालय जहां अनाधिकृत अतिक्रमण है अथवा ग्राम पंचायतों एवं नगर पंचायतों, निकायों द्वारा अवस्थापना सुविधाओं के सृजन में सहयोग नहीं प्रदान किया जा रहा है, वहां आवश्यक कार्यवाही करायी जाय।
डॉ. द्विवेदी ने बताया कि मिशन प्रेरणा के अन्तर्गत विद्यालयों तथा कक्षा-कक्षों के रूपान्तरण प्रत्येक विद्यालय में एनसीईआरटी की 500-1000 पुस्तकों से युक्त पुस्तकालय एवं रीडिंग कार्नर स्थापित किये गये है। कक्षा-कक्षों की दीवारों एवं अलमारियों पर प्रिंटरिच समृद्ध वातावरण राज्य परियोजना कार्यालय द्वारा जनपदों को भेजे गये हैं। शिक्षक स्वयं से भी टीएलएम बनाएंगे। सभी विद्यालयों में क्रिया आधारित सीखने के लिए प्राथमिक कक्षाओं के लिए गणित किट दी जा रही है। कक्षाओं में प्रेरणा तालिका चस्पा कर प्रत्येक छात्र/छात्रा की प्रगति की रियल टाइम मानिटरिंग की जाय। प्रत्येक अभिभावक को छात्र/छात्रा की प्रगति की रिपोर्ट कार्ड से अवगत कराया जाय।
उन्होंने बताया कि बुनियादी शिक्षा का कौशल बढ़ाने हेतु प्रत्येक छात्र को ग्रेडेड रीडिंग बुक्स देने की कार्यवाही की गयी है। बुनियादी शिक्षा एवं उपचारात्मक शिक्षा हेतु 03 शिक्षक हस्तपुस्तिकाओं की उपलब्धता-आधारशिला, ध्यानाकर्षण एवं शिक्षण संग्रह का विकास, जिनमें ‘दैनिक आधार पर कैसे क्रियान्वयन करे पर फोकस किया जाय। नव चयनित 4,400 अकादमिक रिसोर्स पर्सन द्वारा प्रत्येक माह प्रत्येक कक्षा का सहयोगात्मक पर्यवेक्षण, ऑनलाइन रिपोर्टिंग एवं मेंटरिंग की जाय।
डॉ. द्विवेदी ने बताया कि गवर्नेन्स एवं अनुश्रवण की व्यवस्था को सुधारने एवं संस्थागत स्वरूप प्रदान करने के उद्देश्य से विभाग का एकीकृत ‘मानव सम्पदा पोर्टल विकसित करते हुए पूरे प्रदेश में लागू किया गया है। उन्होंने ‘मानव सम्पदा पोर्टल के माध्यम से शिक्षकों के सेवा-विवरण, समस्त प्रकार के अवकाश, विभिन्न देयों का भुगतान, सेवा-पुस्तिका, चरित्र पंजिका आदि संबंधी कार्यों हेतु त्वरित एवं पारदर्शी ऑनलाइन व्यवस्था सुनिश्चित किये जाने के निर्देश दिये है।
डॉ. द्विवेदी ने बताया कि शीघ्र ही विद्यालय खोले जा रहे हैं, तथा बच्चों की पढ़ाई में हुई हानि की भरपाई हेतु 100 दिन का विशेष अभियान ‘प्रेरणा ज्ञानोत्सव संचालित किया जायेगा, जिसमें समस्त छात्र-छात्राओं को मिशन प्रेरणा, प्रेरणा लक्ष्य के अपने लक्ष्य ये परिचित करायें। सभी, उप जिलाधिकारी, जिला पंचायत राज अधिकारी, जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी, खण्ड विकास अधिकारी, खण्ड शिक्षा अधिकारी, सहायक विकास अधिकारी पंचायत, ग्राम पंचायत/विकास सचिव, समस्त शिक्षक (बेसिक शिक्षा विभाग) द्वारा प्रत्येक सप्ताह ‘शिक्षा चौपाल, आयोजित कर मिशन प्रेरणा एवं बुनियादी शिक्षा क महत्व को समझाया जाय।
प्रेरणा लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए छात्रों, शिक्षकों का शपथ ग्रहण समारोह आयोजित कराया जाय। बकाया शिक्षकों, छात्रों, पंचायत सदस्यों को सम्मानित करने के लिए ‘सम्मान समारोह का आयोजन किया जाय। मिशन प्रेरणा, पे्ररणा लक्ष्य के संदेश का फैलाने के लिए आईईसी अभियान प्रारम्भ किया जाये।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button