उरई/जालौन।परमार्थ समाजसेवी संस्था के पच्चीस वर्ष पूर्ण हो जाने पर परमार्थपुरम माधौगढ़ में खिचड़ी भोज का आयोजन किया गया। इस अवसर पर जल संरक्षण में समुदाय की भूमिका विषयक संगोष्ठी का भी आयोजन किया गया। संगोष्ठी को संबोधित करते हुए जल जन जोड़ो अभियान के राष्ट्रीय संयोजक संजय सिंह ने कहा कि 2025 के बाद भारत में उपलब्ध जल की मात्रा में भारी कमी आने वाली है। वर्तमान में भारत में विश्व की 18 प्रतिशत आबादी रहती है जिसके लिए विश्व का पांच प्रतिशत जल ही भारत के पास उपलब्ध है। 2025 में भारत की आबादी एक सौ पचास करोड़ से अधिक होगी जिस कारण आवश्यकता एवं उपलब्धता के बीच में बड़ा अंतर होगा जिसका प्रभाव बुंदेलखंड जैसे क्षेत्र में सबसे ज्यादा पड़ेगा। इस अवसर पर सामुदायिक अगुवाकार गायत्री पाल ने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में माधौगढ़ जैसे इलाके में व्यापक सुधार की आवश्यकता है। जल संरक्षण को शैक्षणिक पाठ्यक्रम से जोड़ा जाए। कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि परमार्थ के निदेशक अनिल सिंह ने कहा कि ग्राम स्तरीय संगठनों के निर्माण की प्रक्रिया को मजबूत करने की आवश्यकता है। हर गांव में पानी पंचायत जैसे संगठन मजबूत होने चाहिए। हर गांव की पेयजल सुरक्षा कार्य योजना तैयार करने की आवश्यकता है। परमार्थ ने पिछले पच्चीस वर्षों में माधौगढ़, रामपुरा, नदीपुरा में जो कार्य किए हैं उनकी प्रासंगितकता आज भी है। इसी कारण पच्चीस साल के बाद लोगों का जुड़ाव संस्था के साथ बना हुआ है। अब आजीविका के संसाधनों के संवर्द्धन एवं जल संरक्षण के क्षेत्र में वैज्ञानिक दृष्टि से काम करने की जरूरत है। सामुदायिक अगुवाकार बलीराम ने जल संरक्षण एवं सामुदायिक संगठन को मजबूत करने के विषय में अपनी बात रखी। कार्यक्रम में उपस्थित जल सहेली सीमा देवी धमना, किरन टीहर, राममूर्ति हैदलपुरा, माया देवी आदि के द्वारा संबोधित किया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता गायत्री देवी गीधन की खोड़ एवं राजबहादुर प्रधान बोहरा के द्वारा संयुक्त रूप से की गई। कार्यक्रम का संचालन संस्था के वरिष्ठ कार्यकर्ता संतोष कुमार ने किया। इस अवसर पर श्रीकृष्ण दोहरे, मंगली बापू, राजेंद्र, दशरथ पाल, रामनारायण, ग्राम पंचायत बिरिया कुंवरपुरा के प्रधान हाकिम सिंह, मुन्नालाल नागर, नृपेंद्र सिंह प्रधान सुकरपुरा, राजेंद्र पाल प्रधान सिहारी सहित लगभग चार सौ महिला पुरुष उपस्थित हुए। कार्यक्रम के सफल संचालन में कौशल विकास केंद्र माधौगढ़ की शिक्षित नफीस खान, निधि तथा केंद्र के सीनियर छात्रों का विशेष सहयेाग रहा।